दिल के जज़्बात
Thursday, 1 August 2013
जिंदगी की किताब होती है लम्बी इतनी
सागर में हों मोती जितनी
कोई इससे न आज तक पढ पाया है
पढ़ा जिसने उसने ही गवाया है
-----------------------------कमला सिंह जीनत
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