दिल के जज़्बात
Friday, 29 May 2015
अंधी है कमज़र्फ़ सियासत फर्क़ नहीं चंडालों को
मजबूरी ने तोड़ दिया है पत्थर तोड़ने वालों को
कमला सिंह 'ज़ीनत'
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